5 EASY FACTS ABOUT SHIV CHALISA LYRICSL DESCRIBED

5 Easy Facts About shiv chalisa lyricsl Described

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सनकादिक गरुणादिक भूतादिक संगे ॥ ॐ जय शिव…॥

Victory on the husband of Girija, the compassionate Lord. He always shields and nurtures his devotees and children. Having a crescent moon adorning his forehead, And earrings made of snakes’ hoods.

भाल चन्द्रमा सोहत नीके। कानन कुण्डल नागफनी के॥

नन्दि गणेश सोहै तहँ कैसे। सागर मध्य कमल हैं जैसे॥

देवन जबहीं जाय पुकारा। तब ही दुख प्रभु आप निवारा॥

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जय जय जय अनंत अविनाशी। करत कृपा सब के घटवासी॥

अर्थ: हे शिव शंकर भोलेनाथ आपने ही त्रिपुरासुर (तरकासुर के तीन पुत्रों ने ब्रह्मा की भक्ति कर उनसे तीन अभेद्य पुर मांगे जिस कारण उन्हें त्रिपुरासुर कहा गया। शर्त के अनुसार भगवान शिव ने अभिजित नक्षत्र में असंभव रथ पर सवार होकर असंभव बाण चलाकर उनका संहार किया था) के साथ युद्ध कर उनका संहार किया व सब पर अपनी कृपा की। हे भगवन भागीरथ के तप से प्रसन्न हो कर उनके पूर्वजों की आत्मा को शांति दिलाने की उनकी प्रतिज्ञा को आपने पूरा किया।

आज के युग में शिव चालीसा पाठ व्यक्ति के जीवन के लिए बहुत महत्वपूर्ण है। शिव चालीसा लिरिक्स की सरल भाषा के मध्यम भगवान शिव को आसानी से प्रसन्न किया जा सकता है।

जय सविता जय जयति दिवाकर!, सहस्त्रांशु! सप्ताश्व तिमिरहर॥ भानु! पतंग! मरीची! भास्कर!...

O Glorious Lord, consort of Parvati That you are most merciful. You mostly bless the inadequate and pious devotees. Your beautiful sort is adorned With all the moon on the shiv chalisa in hindi forehead and with your ears are earrings of snakes’ Hood.

एक कमल प्रभु राखेउ जोई। कमल नयन पूजन चहं सोई॥

कहैं अयोध्यादास आस तुम्हारी। जानि सकल दुःख हरहु हमारी॥

द्वादश ज्योतिर्लिंग मंत्र

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